प्रवर्तन निदेशालय(ED Raipur ने महादेव सट्टा ऐप Mahdev satta app के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करते हुए 3.29 करोड़ कैश और 573 करोड़ रुपए से अधिक मूल्य के बॉन्ड और डीमैट खातों को फ्रीज किया है। सट्टे की कमाई को फर्जी कंपनियों में निवेश करते थे। अब तक 3002 करोड़ की संपत्ति सीज की गई है।
रायपुर. प्रवर्तन निदेशालय( ED Raipur ने महादेव सट्टा ऐप Mahdev satta app के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करते हुए 3.29 करोड़ कैश और 573 करोड़ रुपए से अधिक मूल्य के बॉन्ड और डीमैट खातों को फ्रीज किया है। सट्टे की कमाई को फर्जी कंपनियों में निवेश करते थे। अब तक 3002 करोड़ की संपत्ति सीज की गई है। बता दें कि महादेव सट्टा ऐप मामले में रायपुर ईडी की टीम ने 16 अप्रैल को 7 राज्यों के अलग-अलग ठिकानों में छापेमार कार्रवाई की है।
Mahdev satta app 170 ठिकानों पर छापेमारी
महादेव सट्टा ऐप मामले में ईडी ने अब तक 170 से अधिक ठिकानों पर छापेमारी कर तलाशी ली है। इसके अलावा मामले में करीब 3002.47 करोड़ रुपए मूल्य की अचल-चल संपत्ति को फ्रीज और कुर्क किया गया है। Mahdev satta app ईडी ने इस मामले में कुल 13 लोगों को गिरफ्तार किया है, जबकि इस मामले में दायर पांच अभियोजन शिकायतों में 74 संस्थाओं को आरोपी बनाया गया है। इस मामले में ईडी की ओर से आगे की जांच जारी है।
प्रेस रिलीज में दी जानकारी
प्रवर्तन निदेशालय रायपुर जोनल कार्यालय ने प्रेस नोट जारी कर बताया कि, महादेव ऑनलाइन बुक बेटिंग ऐप मामले में दिल्ली, मुंबई, इंदौर, अहमदाबाद, चंडीगढ़, चेन्नई और संबलपुर (ओडिशा) में तलाशी अभियान चलाया गया। कई दस्तावेज और इलेक्ट्रॉनिक रिकॉर्ड को जब्त किया गया है।
ऐसे चल रहा महादेव सट्टा ऐप
ईडी की जांच से पता चला है कि, महादेव ऑनलाइन बुक बेटिंग ऐप एक अम्ब्रेला सिंडिकेट की तरह संचालित किया जा रहा है। Mahdev satta app ये लोगों को अवैध सट्टेबाजी करने के लिए ऑनलाइन प्लेटफॉर्म की व्यवस्था करता है। बड़ी मात्रा में अवैध सट्टे की कमाई को बेनामी बैंक खातों का इस्तेमाल कर उसमें जमा किया जा रहा था।
इन सट्टेबाजी प्लेटफार्मों से होने वाली कमाई को भारत से बाहर ट्रांसफर किया जा रहा था। बाद में “विदेशी एफपीआई” (जो मॉरीशस, दुबई से बाहर स्थित हैं) के नाम पर भारतीय शेयर बाजार में उन पैसों को लगाया जा रहा था। आम निवेशकों को धोखा देने के लिए कुछ स्मॉल और मीडियम इंटरप्राइजेस के जरिए मार्केट में उतार-चढ़ाव पैदा करने सट्टे की कमाई से पैसों को कुछ कंपनियों में इन्वेस्ट किया गया।