भिलाई . सोमवार से सावन की शुरुआत से पहले बारिश में बढ़ोतरी होने लगी है। शुक्रवार की रात को झमाझाम 31.8 मिलीमीटर यानी डेढ़ इंच पानी गिरा। इसके बाद शनिवार को दिनभर तेज धूप ने हलाकान किया। इससे उमस में दोगुनी वृद्धि हो गई। दिनभर उमस में गुजराने के बाद शाम को एक बार फिर काले बादल छाए और हल्की बूंदाबांदी की शुरुआत हुई जो शाम 6.30 बजे के आसपास तेज बारिश में बदल गई। इस तरह अषाढ़ के आखिरी दो दिनों में बढिय़ा बारिश मानसून की सक्रियता की ओर इशारा कर रही है। मौसम विभाग ने येलो अलर्ट जारी करते हुए कहा है कि प्रदेश में भारी बारिश का मुख्य क्षेत्र अगले कुछ दिन मध्य छत्तीसगढ़ यानी दुर्ग संभाग रहेगा। 21 से 25 जुलाई तक दुर्ग जिला सहित संभाग के जिलों में बढिय़ा बारिश की संभावना बन रही है। ओडि़शा के तट पर बने अमदाब से अब छत्तीसगढ़ की ओर तीन किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से कमजोर होगा। इसके बाद अगले 12 घंटों में इससे कम दबाव का क्षेत्र बनने की संभावना है। यह स्थिति जिले में बारिश की संभावनाएं बढ़ाएंगी।
जिले में अब तक 206.4 मिमी वर्षा
जिले में एक जून से 20 जुलाई तक 206.4 मिमी औसत वर्षा दर्ज की गई है। कार्यालय कलेक्टर भू-अभिलेख शाखा से प्राप्त जानकारी के अनुसार 1 जून से अब तक सर्वाधिक वर्षा &70.1 मिमी पाटन तहसील में हुई है। न्यूनतम 1&0.4 मिमी बोरी तहसील में दर्ज की गई है। इसके अलावा तहसील दुर्ग में 167.8 मिमी, तहसील धमधा में 146.& मिमी, तहसील भिलाई & में 181.4 मिमी और तहसील अहिवारा में 242.2 मिमी वर्षा दर्ज की गई है।
आषाढ़ का आखिरी दिन आज
इस साल 19 जून को मानसून ने दुर्ग जिले में दस्तक दी। इस लिहाज से अभी तक जिले में मानसून से जितनी बारिश हुई है, उतनी बारिश आषाढ़ के आखिरी दो दिनों में हो गई। दुर्ग जिले में सबसे अ‘छी बारिश इस बार भी पाटन तहसील में हुई वहीं सबसे कम बारिश धमधा ब्लॉक में हुई। शनिवार को दुर्ग में 20.2 मिमी वर्षा हुई। तहसील धमधा में 8.8 मिमी, तहसील पाटन में 51.4 मिमी, तहसील बोरी में 15.9 मिमी, भिलाई & में 19.0 मिमी और तहसील अहिवारा में 16.5 मिमी वर्षा दर्ज की गई है। मौसम विभाग ने कहा है कि अब मानसून की सक्रियता बनी रहेगी। जुलाई की विदाई तक जिला सहित प्रदेशभर में झमाझम बारिश के लिए सभी परिस्थितियां अनुकूल बनती दिख रही है।
तापमान, उमस में कमी नहीं
शुक्रवार की रात को हुई झमाझम बारिश के बाद तापमान में गिरावट की उम्मीद थी, लेकिन इसका विपरित हुआ। शनिवार को दोपहर में अधिकतम तापमान 33.6 डिग्री सेल्सियस पर पहुंच गया। भीगी हुई जमीन पर पड़ी सूरज की तेज किरणों ने जमकर भांप बनाई, जिससे चिपचिपी चुभने वाली गर्मी का अहसास हुआ। विभाग ने फिलहाल अधिकतम और न्यूनतम तापमान में गिरावट के संकेत नहीं दिए हैं। इन दिनों जिले का न्यूनतम फिलहाल 25 डिग्री के आसपास बना हुआ है, लेकिन फील चेम्प्रेचर के मामले में रात बेचैन करने वाली है। रात का पारा 27 डिग्री तक पहुंच रहा है।
अगले कुछ दिन वर्षा का मुख्य क्षेत्र मध्य छत्तीसगढ़ रहेगा। इससे रायपुर और दुर्ग संभाग में झमाझम बारिश की संभावना है। दुर्ग संभाग के जिलों में भारी बाारिश का अलर्ट भी जारी किया गया है। हालांकि दुर्ग की स्थिति अभी येलो अलर्ट के आसपास कही जा सकती है।
एचपी चंद्रा, मौसम विशेषज्ञ