Saturday, January 11, 2025
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एनआईए ने बीजेपी नेता की हत्या मामले में छत्तीसगढ़ के 12 स्थानों पर छापे मारे, 9.90 लाख नकद के साथ हथियार बरामद

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Chhattisgarh Raipur Bastar BJP leader murdered Maoist NIA raid
Chhattisgarh Raipur Bastar BJP leader murdered Maoist NIA raid

रायपुर/नई दिल्ली। नवंबर 2023 को विधानसभा के दौरान हुए भारतीय जनता पार्टी के एक नेता की हत्या की जांच राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने शुरू कर दी है। इस संबंध में प्रदेश के माओवादी क्षेत्र में जांच एजेंसी ने दर्जनभर स्थानों पर छापा मारा है। जहां से हथियार के साथ नगद राशि बरामद की गई है।

बता दें कि भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के संदिग्ध सदस्यों द्वारा भारतीय जनता पार्टी के नेता रतन दुबे की हत्या विधानसभा चुनाव के दौरान की गई थी। इस मामले की जांच के लिए छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित क्षेत्र में एक दर्जन स्थानों पर छापेमारी की गई है।

इस नृशंस हत्या के अनुसार छत्तीसगढ़ के नारायणपुर जिले के कौशलनार साप्ताहिक बाजार में बीजेपी नेता दुबे की 4 नवंबर 2023 को विधानसभा चुनाव प्रचार के दौरान कुल्हाड़ी से मारकर हत्या कर दी गई थी। राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण की अब तक हुई जांच के अनुसार प्रतिबंधित भाकपा (माओवादी) से जुड़े हथियारबंद हमलावरों ने ही भाजपा नेता की हत्या की गई थी।

जांच के दौरान ‘भाकपा (माओवादी) के पूर्वी बस्तर संभाग के बयानार एरिया कमेटी के अनेक संदिग्धों और नक्सल समर्थकों से जुड़े परिसरों पर जांच एजेंसी ने दबिश दी है। मामले पर बयान में जांच एजेंसी ने कहा है कि कार्रवाई में आज तोयनार, कौशलनार, बडेनहोद, धौड़ाई और कोंगेरा गांवों सहित 12 जगहों पर छापेमारी की गई है।

एजेंसी ने स्थानीय पुलिस द्वारा दर्ज इस मामले में फरवरी में जांच का जिम्मा संभाला था और वह एक आरोपी के खिलाफ आरोप पत्र दाखिल कर चुकी है। बयान में कहा गया है कि छापेमारी के दौरान कई मोबाइल फोन, एक टैबलेट और 9.90 लाख रुपये नकद के साथ-साथ नक्सली विचारधारा का प्रचार करने वाले पर्चे और साहित्य भी बरामद किये गये हैं।

विपक्ष के नेता को लोकसभा में मिलेंगी ..ये बड़ी सुविधाएं और अनेक शक्तियां, उन्हें औपचारिक अवसरों पर कुछ विशेषाधिकार भी प्राप्त

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Lok Sabha Opposition Leader Big Facilities Powers Privileges
Lok Sabha Opposition Leader Big Facilities Powers Privileges

नई दिल्ली। कांग्रेस नेता राहुल गांधी को लोकसभा में विपक्ष का नेता के रूप में नेतृत्व करेंगे। विपक्ष के नेता के रूप में राहुल गांधी को वेतन मिलेगा और संसद में विपक्ष के नेताओं के वेतन और भत्ते अधिनियम, 1977 के तहत उन्हें कई सुविधाएं भी मिलेंगी। संसद पुस्तकालय में उपलब्ध एक सरकारी पुस्तिका के अनुसार, “विपक्ष के नेता को अध्यक्ष के बाईं ओर की अगली पंक्ति में एक सीट मिलती है। उन्हें औपचारिक अवसरों पर कुछ विशेषाधिकार भी प्राप्त होते हैं जैसे निर्वाचित अध्यक्ष को मंच तक ले जाना और संसद के दोनों सदनों में राष्ट्रपति के अभिभाषण के समय अग्रिम पंक्ति पर बैठेंगे।”

विपक्ष के नेता के रूप में ये है शक्तियां

राहुल गांधी पांच बार के लोकसभा सांसद हैं, उन्होंने पहले अमेठी, वायनाड और अब रायबरेली निर्वाचन क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व किया है। राहुल गांधी के पास अधिक शक्तियां होंगी क्योंकि भारत 10 वर्षों में लोकसभा में अपना पहला विपक्ष का नेता देखेगा। विपक्ष के नेता के समर्थन के बिना सरकार के लिए निर्णय लेना मुश्किल होगा। विपक्ष के नेता के रूप में राहुल गांधी को कैबिनेट मंत्री का दर्जा, वेतन और भत्ते मिलेंगे। उन्हें 3.3 लाख रुपये की सैलरी मिलेगी। उन्हें कैबिनेट मंत्री स्तर की सुरक्षा भी मिलेगी। इसमें Z+ सुरक्षा कवर शामिल हो सकता है। उन्हें कैबिनेट मंत्री के समान सरकारी बंगला मिलेगा।

राहुल गांधी इन पैनलों में होंगे जिनमें पीएम पैनल सीमित होंगी

राहुल गांधी अब उस तीन सदस्यीय पैनल में होंगे जो मुख्य चुनाव आयुक्त और दो चुनाव आयुक्तों का चयन करेगा। उनकी शक्तियां तीन सदस्यीय पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाले पैनल पर सीमित होंगी क्योंकि तीसरे सदस्य, एक केंद्रीय कैबिनेट सदस्य, को पीएम द्वारा चुना जाता है। हालाँकि, चूंकि भाजपा को अब लोकसभा में पूर्ण बहुमत प्राप्त नहीं है, इसलिए दोनों सदस्य अपने निर्णय राहुल गांधी पर “थोप” नहीं सकते हैं। सीबीआई, ईडी और सीवीसी जैसी केंद्रीय एजेंसियों के प्रमुखों को चुनने वाली समिति के सदस्य के रूप में राहुल गांधी के पास अधिक शक्तियां होंगी। तीन सदस्यीय समिति का नेतृत्व पीएम मोदी करेंगे और इसमें भारत के मुख्य न्यायाधीश या उनके द्वारा नियुक्त सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश शामिल होंगे।

ये है उनकी राजनीतिक उपलब्धियां

राहुल गांधी पहली बार 2004 में सांसद बने जब उन्होंने अमेठी निर्वाचन क्षेत्र जीता। वह अब तक केवल एक चुनाव हारे हैं – 2019 में अमेठी में हुआ चुनाव, लेकिन चूंकि उन्होंने उसी वर्ष केरल में वायनाड सीट के लिए चुनाव लड़ा, इसलिए उन्होंने अपनी संसद सदस्यता बरकरार रखी। मानहानि मामले में दोषी ठहराए जाने के बाद 2023 में राहुल गांधी को कुछ समय के लिए सांसद के रूप में अयोग्य घोषित कर दिया गया था। हालाँकि, उनकी दोषसिद्धि पर रोक लगा दी गई और उनकी सदस्यता बहाल कर दी गई। राहुल गांधी 2017 से 2019 के बीच कांग्रेस अध्यक्ष के पद पर रहे। वह वर्तमान में युवा कांग्रेस के अध्यक्ष के रूप में कार्यरत हैं।

मुसीबत बढ़ी.. सीबीआई को केजरीवाल की तीन दिन की मिली कस्टडी, पत्नी सुनीता का आरोप- पूरा तंत्र कोशिश में है कि वे जेल से बाहर ना आए

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Delhi CM Arvind Kejriwal CBI custody
Delhi CM Arvind Kejriwal CBI custody

नई दिल्ली। दिल्ली के मुख्यमंत्री और आम आदमी पार्टी के संयोजक अरविंद केजरीवाल की मुसीबतें एक के बाद एक बढ़ती चली जा रही हैं। पहले दिल्ली हाई कोर्ट ने उनकी जमानत पर रोक लगा दी और अब सीबीआई ने भी उन्हें गिरफ्तार कर लिया है। सीबीआई ने राउज एवेन्यू कोर्ट में पेशी के बाद कोर्ट से केजरीवाल की न्यायिक हिरासत मांगी थी। जिस पर कोर्ट ने अरविंद केजरीवाल को 3 दिनों के लिए सीबीआई की हिरासत में भेज दिया है।

इधर पूरे मामले पर अरविंद केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल का बयान सामने आया है। सुनीता ने कहा कि 20 जून अरविंद केजरीवाल को बेल मिली। तुरंत ईडी ने स्टे लगवा लिया। अगले ही दिन सीबीआई ने आरोपी बना दिया और आज गिरफ़्तार कर लिया। सुनीता ने आरोप लगाया कि पूरा तंत्र इस कोशिश में है कि बंदा जेल से बाहर ना आ जाये। ये क़ानून नहीं है। ये तानाशाही है, इमरजेंसी है।

10 साल बाद लोकसभा को मिला विपक्ष का नेता, 2014 और 2019 के चुनाव में विपक्षी पार्टियों को नहीं मिली थी इस पद के लायक सीटें

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New Delhi Lok Sabha opposition leader Rahul Gandhi
New Delhi Lok Sabha opposition leader Rahul Gandhi
  • दो लोकसभा चुनाव के बाद कांग्रेस दूसरी बड़ी पार्टी के रूप में उभरी
  • उत्तर प्रदेश के रायबरेली से सांसद राहुल गांधी लोकसभा में विपक्ष का करेंगे नेतृत्व

नई दिल्ली। देश को 10 साल बाद लोकसभा में विपक्ष का नेता मिल गया है। 2014 और 2019 में चूंकि कोई भी विपक्षी पार्टी लोकसभा चुनावों में इतनी सीटें नहीं जीत सकी थी कि उसे विपक्ष के नेता का पद मिल सके इसलिए यह पद खाली था। पिछली दो लोकसभा में पहले मल्लिकार्जुन खरगे और उनके बाद अधीर रंजन चौधरी एक तरह से विपक्ष का नेतृत्व कर रहे थे, लेकिन इस बार कांग्रेस दूसरी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है और उसने निर्णय लिया है कि उत्तर प्रदेश के रायबरेली से सांसद राहुल गांधी लोकसभा में विपक्ष के नेता होंगे।

राहुल गांधी को विपक्ष का नेता बनाये जाते ही भारतीय राजनीति में एक नया मोड़ आ गया है। साथ ही, भारत की राजनीति में उत्तर प्रदेश का कितना महत्व है इसे इस बात से समझ सकते हैं कि देश के प्रधानमंत्री भी उत्तर प्रदेश के वाराणसी से सांसद हैं और विपक्ष के नेता भी इसी प्रदेश से सांसद चुने गये हैं। देखा जाये तो राहुल गांधी को विपक्ष के नेता के रूप में बहुत बड़ी जिम्मेदारी मिली है, यदि वह इसे सही से निभा पाये तो यकीनन प्रधानमंत्री बनने का उनका सपना भी पूरा हो सकता है।

चुनाव के दौरान बेहद सक्रिय रहे राहुल

राहुल गांधी ने हालिया संपन्न लोकसभा चुनावों में जिन मुद्दों को उठा कर अपनी पार्टी को बड़ी बढ़त दिलाई, यदि वह उन मुद्दों को संसद में भी प्रभावी ढंग से उठा कर देश की जनता की समस्याओं का हल करवा पाये तो वह अपनी उस छवि से बाहर निकल सकते हैं जिसके तहत कहा जाता है कि राहुल गांधी गंभीर राजनीतिज्ञ नहीं हैं। वैसे विपक्ष का नेता बनते ही जिस तरह राहुल गांधी टी-शर्ट छोड़कर कुर्ते पायजामे में संसद भवन पहुँचे उससे उन्होंने काफी संकेत और संदेश दे दिये हैं।

अगर ऐसा हुआ तो राजनीति में एक नया मोड़ देखने को मिलेगा

एक दिन पहले हाथ में संविधान की प्रति लेकर लोकसभा की सदस्यता की शपथ लेने वाले राहुल गांधी यदि संसदीय परम्पराओं को आगे बढ़ाते हुए विपक्ष के नेता के रूप में सफल हुए तो भारतीय राजनीति में एक और नया मोड़ देखने को मिल सकता है। हम आपको यह भी याद दिला दें कि पिछली लोकसभा के दौरान अदालती आदेश के बाद राहुल गांधी की संसद सदस्यता समाप्त होने पर उनका सरकारी आवास वापस ले लिया गया था, लेकिन इस बार वह बतौर विपक्ष के नेता बड़े सरकारी आवास के और कैबिनेट रैंक की सुविधाओं के हकदार होंगे।

पीएम चयन समितियों में भी शामिल रहेंगे

साथ ही राहुल गांधी अब प्रधानमंत्री के नेतृत्व वाली कई महत्वपूर्ण चयन समितियों के भी सदस्य हो जाएंगे। यानि अब मोदी से उनका आमना सामना सिर्फ संसद में ही नहीं बल्कि कई समितियों में भी होगा। वैसे लोकसभा अध्यक्ष के रूप में ओम बिरला के निर्वाचन के समय राहुल गांधी ने प्रधानमंत्री मोदी से हाथ मिलाकर संकेत दिया है कि वह सकारात्मक और रचनात्मक विपक्ष की भूमिका निभाने के लिए तैयार हैं।

रात में साथ सोई 2 नाबालिग बहनों की सुबह नींद खुली और हो गई मौत, दोनों के शरीर पर ये निशान बना देख घरवालों के उड़े होश

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0 आधी रात दोनों के साथ हुई घटना, परिजनों द्वारा दोनों को अस्पताल में भर्ती कराया गया, लेकिन कुछ ही देर के अंतराल में दोनों की चली गई जान

अंबिकापुर। Snake bite: 25 जून की रात 2 सगी नाबालिग बहनें साथ में सोईं थीं, जब वे सुबह सोकर उठीं तो उनकी हालत खराब थी। माता-पिता ने जब उनके शरीर पर सांप के डसने का निशान देखा तो उनके होश उड़ गए। इसके बाद उन्हें तत्काल अस्पताल ले जाया गया, यहां इलाज के दौरान उनकी मौत हो गई। दरअसल दोनों बहनें जमीन पर सोई थीं, इस दौरान उन्हें सांप ने डस लिया था।

बारिश का सीजन शुरू होते सर्पदंश (Snake bite) की घटनाएं भी बढ़ गईं हैं। इसमें से अधिकांश मौतें जमीन पर सोने के दौरान सांप के डसने से हो रही हैं। इसी कड़ी में सूरजपुर जिले के चंदौरा थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम गोवर्धनपुर निवासी 2 सगी बहनों की सांप के डसने से मौत हो गई।

2 सगी बहनें सुमन अगरिया 14 वर्ष और संजना अगरिया पिता मोती 16 वर्ष 25 जून की रात जमीन पर सोई हुई थीं। इसी बीच उन्हें किसी सांप ने डस लिया। रात में दोनों को संभवतः पता नही चल पाया। जब दोनों सुबह उठीं तो वे उल्टियां करने लगीं।

अस्पताल में दोनों ने तोड़ा दम

दोनों बहनों की हालत खराब देख घरवालों ने जांच की तो उनके शरीर पर सांप के डसने के निशान मिले। फिर उन्हें आनन फानन में वाड्रफनगर अस्पताल में भर्ती कराया गया। यहां सुमन की मौत हो गई।

वहीं संजना की गंभीर हालत को देखते हुए डॉक्टरों ने उसे मेडिकल कॉलेज अंबिकापुर के लिए रेफर कर दिया। जब परिजन उसे लेकर अंबिकापुर पहुंचे तो डॉक्टरों ने जांच पश्चात उसे भी मृत घोषित कर दिया।

एसीबी ने एएसआई को 10 हजार रुपए की रिश्वत लेते रंगे हाथों किया गिरफ्तार, हाफ मर्डर की धारा लगाने मांगे थे 30 हजार

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0 जमीन विवाद को लेकर जनपद सदस्य के भाई के उपर टांगी से हुआ था हमला, पुलिस ने लगाई थीं मारपीट की मामूली धाराएं

अंबिकापुर। एंटी करप्शन ब्यूरो अंबिकापुर की टीम ने बुधवार को 10 हजार की रिश्वत लेते रामानुजनगर थाने में पदस्थ एक एएसआई और उसके सहयोगी को रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। एएसआई ने मारपीट के मामले में धारा बढ़ाने के बदले 30 हजार की डिमांड की थी, बाद मेसौदा 10 हजार में तय हुआ था। आज पीड़ित ने जैसे ही 10 हजार रुपए एएसआई को दिए, पहले से वहां मौजूद एसीबी की टीम ने उसे गिरफ्तार कर लिया।

सूरजपुर जिले के रामानुजनगर थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम सुरता में जमीन विवाद को लेकर दो पक्षों में मारपीट हुई थी। इस मामले में पुलिस ने साधारण मारपीट की धारा लगाई थी।

क्षेत्र के जनपद सदस्य शिवमंगल सिंह के भाई के ऊपर टांगी से हमला हुआ था। इस मामले में जब शिवमंगल सिंह थाने में पहुंचे और धाराएं बढ़ाने की बात कही तो थाने में पदस्थ एएसआई माधव सिंह ने उनसे धारा 307 लगाने के लिए 30 हजार रुपए की डिमांड की। बाद में 10 हजार में सौदा तय हो गया।

एसीबी से की मामले की शिकायत

जनपद सदस्य शिवमंगल सिंह ने इस मामले की शिकायत एसीबी अंबिकापुर की टीम से की। इसके बाद एसीबी की टीम प्लान बनाकर एएसआई को गिरफ्तार करने बुधवार को थाना परिसर में पहुंची।

10 हजार लेते ही किया गिरफ्तार

एसीबी की टीम केमिकल लगे 10 हजार रुपए शिवमंगल सिंह को दिए। उन रुपयों को लेकर शिवमंगल सिंह ने एएसआई के सहयोगी मोहम्मद्दीन को दिया।

मोहम्मद्दीन ने जैसे ही एएसआई माधव सिंह को रुपए पकड़ाए, वहां मौजूद एसीबी की टीम ने उसे रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया। टीम द्वारा एएसआई के खिलाफ भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत कार्रवाई कर रही है।

एसीबी की टीम ने 5 दिन पहले उदयपुर एसडीएम और उसके 3 कर्मचारियों को 40000 की रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था।

नक्सलियों को लगा बड़ा झटका! टॉप लीडर सुदर्शन की मौत, 50 लाख का घोषित था इनाम

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0 नक्सलियों की ओर से जारी 32 पेज की प्रेस विज्ञप्ति से हुई मौत की पुष्टि, नक्सलियों की सेंट्रल कमिटी का मेंबर और पोलित ब्यूरो का था सदस्य

बस्तर। छत्तीसगढ़ में इन दिनों सुरक्षा बलों और नक्सलियों की मुठभेड़ लगातार जारी है। इसमें नक्सलियों को काफी नुकसान हो रहा है। पिछले 5 महीने में ही करीब 150 नक्सली मारे जा चुके हैं। इस बीच नक्सलियों को एक और बड़ा झटका लगा है। नक्सलियों के सेंट्रल कमेटी मेंबर और पोलित ब्यूरो के सदस्य कटकम सुदर्शन उर्फ आनंद की बीमारी से मौत हो गई। उसपर 50 लाख रुपए का इनाम घोषित था।

नक्सलियों की ओर से जारी 32 पेज की प्रेस विज्ञप्ति में 31 मई को कटकम सुदर्शन उर्फ आनंद की मौत की पुष्टि की गई है। इसमें उन्होंने सुदर्शन की जीवनी का जिक्र किया है। अंत में उसे आखिरी संदेश को भी लिखा गया है। बस्तर में आए दिन एनकाउंटर का सामना कर रहे नक्सलियों को उनके टॉप लीडर की बीमारी से हो रही मौतों से भी बड़ा झटका लग रहा है।

4 टॉप लीडर्स की हो चुकी है मौत

एनकाउंटर में मारे जाने के अलावा पिछले 4 साल में नक्सलियों के 4 टॉप लीडर्स की मौत बीमारी से भी हो चुकी है। कोरोना काल में Corona से नक्सली लीडर हरिभूषण और उसकी पत्नी शारदा की मौत हो गई थी।

वहीं नक्सल लीडर कट्टी मोहन राव और उसकी पत्नी भरतक्का की मौत भी कोरोना से ही हुई थी। इसके अलावा बस्तर के दंडकारण्य स्पेशल जोनल कमेटी के सेक्रेटरी रमन्ना की मौत बीमारी से हुई थी। इसके बाद सुदर्शन उर्फ आनंद की मौत हुई है।

जेल में ही रहेंगे.. दिल्ली हाईकोर्ट ने सीएम अरविंद केजरीवाल को जमानत देने से फिर इनकार कर दिया

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Shock to CM Arvind Kejriwal High Court denies bail
Shock to CM Arvind Kejriwal High Court denies bail

नई दिल्ली। फिलहाल दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल जेल में ही रहेंगे। उन्हें हाई कोर्ट से जमानत नहीं मिली। इस आदेश के खिलाफ केजरीवाल की सुप्रीम कोर्ट में कल 26 जून को सुनवाई होगी शराब घोटाला से जुड़े मामले पर केजरीवाल को राहत नहीं मिली है। आज हुई सुनवाई के बाद हाईकोर्ट ने निचली अदालत से केजरीवाल को दी गई जमानत पर रोक बरकरार रखी है।

इससे पहले निचली अदालत ने इस मामले में केजरीवाल को जमानत दी थी, जिस पर बाद में ईडी दिल्ली हाईकोर्ट पहुंची थी। हाईकोर्ट ने 25 जून तक फैसला आने तक केजरीवाल की जमानत पर रोक लगा दी थी।

सीएम विष्णुदेव साय ने पीएम मोदी से मिलकर बताई छत्तीसगढ़ विजन डॉक्यूमेंट और माओवादी विरोधी अभियानों की योजना

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..Chhattisgarh Raipur CM Vishnudev meets PM Narendra Modi
..Chhattisgarh Raipur CM Vishnudev meets PM Narendra Modi

रायपुर। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय दिल्ली दौरे पर हैं। साय ने आज मंगलवार को संसद भवन में पीएम नरेंद्र मोदी से मिलकर छत्तीसगढ़ के नक्सलवाद के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान की जानकारी दी। बताया गया कि हमारे जवान किस तरह नक्सलियों का उनके मांद में घुसकर खात्मा कर रहे हैं।

इस दौरान मुख्यमंत्री साय ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को तीसरी बार देश का पीएम बनने पर शुभकामनाएं दी। इस अवसर पर मुख्यमंत्री साय ने प्रधानमंत्री को अमृतकाल : छत्तीसगढ़ विजन @2047 ‘विजन डॉक्यूमेंट’ के बारे में जानकारी दी।

सीएम साय ने बताया कि इसका निर्माण राज्य नीति आयोग द्वारा किया जा रहा है जिसे एक नवंबर को राज्य की जनता को समर्पित किया जाएगा। वहीं प्रदेश में छह माह में माओवादी विरोधी अभियानों में की गयी कार्रवाई की जानकारी भी प्रधानमंत्री को दी गई।

पीएम मोदी को साय ने नियद नेल्लानार योजना (आपका आदर्श गाँव) के बारे में जानकारी देते हुए मुख्यमंत्री ने बताया कि इस योजना के तहत नक्सलियों के आधार को कमजोर करने व शासन-प्रशासन और ग्रामीणों के बीच परस्पर विश्वास बढ़ाने के लिए कार्य किया जा रहा है।

सीएम साय ने नक्सली प्रभावित क्षेत्र बस्तर की स्थिति पर जानकारी दी कि इस योजना के तहत वर्तमान में 23 कैंप खोले गए हैं, जिनमें 90 ग्राम शामिल हैं। भविष्य में 29 कैंपों को प्रारंभ करने की योजना है। इससे माओवाद प्रभावित क्षेत्र में नक्सलियों की आमद कमजोर हो रही है।